नमस्कार दोस्तों, SMSseller.com पर एक बार फिर से आपका दिल से स्वागत है।
क्या आपने भी कभी प्रेम में गहरा दर्द महसूस किया है? क्या आपका दिल किसी के लिए इतना टूटा है कि आपको लगता है जैसे उसके टुकड़े कभी नहीं जुड़ सकते? अगर हां, तो हमारा यह "500+ Sad Love Status in Hindi" संग्रह आपके लिए एक भावनात्मक सहारा बन सकता है। यह सिर्फ शब्दों का संग्रह नहीं, बल्कि उन टूटे दिलों की आवाज़ है जो अपनी वेदना को व्यक्त करना चाहते हैं।
हर एक स्टेटस आपके दिल की गहराइयों तक पहुँच कर आपके छुपे हुए दर्द को छू लेगा और आपको उस दर्द को बाँटने की प्रेरणा देगा। याद रखें, इस दर्द को साझा करने से आप अकेले नहीं हैं, लाखों लोग हैं जो आपकी भावनाओं को समझते हैं और इसे व्यक्त करने में आपके साथ हैं।
अपनी भावनाओं को व्यक्त करने से डरें नहीं, क्योंकि प्रत्येक शब्द आपको इस भावनात्मक सफर में थोड़ा और मजबूत बनाता है। तो आइए, अपने दुखद अनुभवों को हमारे साथ साझा करें और इस भावनात्मक यात्रा में एक-दूसरे का साथ दें।
Sad Love Status in Hindi
जब प्रेम दर्द बन जाए: स्टेटस से दिल की बात
मुझे तेरे ये कच्चे रिश्ते जरा भी पसंद नहीं आते या तो लोहे की तरह जोड़ दे या फिर धागे की तरह तोड़ दे।
दिखावे की मोहब्बत तो जमाने को हैं हमसे पर…,,
ये दिल तो वहाँ बिकेगा जहाँ ज़ज्बातो की कदर होगी।
रुठुंगा अगर तुजसे तो इस कदर रुठुंगा की ,,
ये तेरीे आँखे मेरी एक झलक को तरसेंगी।
तेरे शहर के कारीगर बङे अजीब हैं ए दिल,,
काँच की मरम्मत करते हैं पत्थर के औजारों से…।
जख्म बन जाने की आदत है उन्हें रुला कर मुस्कुराने की आदत है उन्हें ; मिलेंगे कभी तो खूब रुलाएंगे सुना हैं रोते हुए लिपट जाने की आदत है उन्हें ।
मुझे अपने किरदार पे इतना तो यकीन है की,
कोई मुझे छोड़ सकता है लेकिन भूल नही सकता…।
टूटे हुवे सपनो और रूठे हुवे अपनों ने आज उदास कर दिया | वरना लोग हमसे मुस्कराने का राज पुछा करते थे ||।
इसे इत्तेफाक समझो या दर्दनाक हकीकत,
आँख जब भी नम हुई,
वजह कोई अपना ही निकला।
कोन कहता हे मुसाफिर जख्मी नही होते ,
रस्ते गवाह हे कम्बख्त गवाही नही देते।
हँसकर दर्द छुपाने की कारीगरी मशहूर थी मेरी,
पर कोई हुनर काम नहीं आता जब तेरा नाम आता है |।
क़ाश कोई ऐसा हो,
जो गले लगा कर कहे…,
तेरे दर्द से मुझे भी तकलीफ होती है…।
हमने गुज़रे हुए लम्हों का हवाला जो दिया हँस के वो कहने लगे रात गई बात गई …।
लिख देना ये अल्फाज मेरी कबर पे…,
मोत अछी है मगर दिल का लगाना अच्छा नहीं…।
तू मेरी चाहत का एक लफ्ज भी ना पढ़ सका,
और मैं तेरे दिये हुए दर्द की किताब पढ़ते पढ़ते ही सोती हूँ।
मुस्कुराने से भी होता है ग़में-दिल बयां,
मुझे रोने की आदत हो ये ज़रूरी तो नहीं।
इतना याद न आया करो,
कि रात भर सो न सकें।
सुबह को सुर्ख आँखों का सबब पूछते हैं लोग।
लोग कहते हैं दुःख बुरा होता है,
जब भी आता है रुलाता है।
मगर हम कहते हैं दुःख अच्छा होता है,
जब भी आता है कुछ सिखाता है।
मैं क्या जानूँ दर्द की कीमत ? मेरे अपने मुझे मुफ्त में देते हैं।
वो रो रो कर कहती रही,
मुझे नफरत है तुमसे,
मगर एक सवाल आज भी परेशान किये हुए है की अगर इतनी नफरत ही थी तो,
वो रोई क्यों…
मैं आईना हूँ टूटना मेरी फितरत है,
इसलिए पत्थरों से मुझे कोई गिला नहीं।
कितने सालों के इंतज़ार का सफर खाक हुआ।
उसने जब पूछा “कहो कैसे आना हुआ”।
मेरी किस्मत में तो कुछ यूँ लिखा है,
किसी ने वक्त गुज़ारने के लिए अपना बनाया,
तो किसी ने अपना बनाकर वक्त गुजार लिया।
जब मिलो किसी से तो जरा दूर का रिश्ता रखना,
बहुत तङपाते है अक्सर सीने से लगाने वाले।
अजीब सा दर्द है इन दिनों यारों,
न बताऊं तो ‘कायर’,
बताऊँ तो ‘शायर’।
ये मेरी महोब्बत और उसकी नफरत का मामला है,
ऐ मेरे नसीब तू बीच में दखल-अंदाज़ी मत कर।
ना जाने किस बात पे वो नाराज हैं हमसे,
ख्वाबों मे भी मिलता हूँ तो बात नही करती।
सोचता रहा ये रातभर करवट बदल बदल कर,
जानें वो क्यों बदल गया,
मुझको इतना बदल कर।
उजड़ जाते हैं सर से पाँव तक वो लोग जो,
किसी बेपरवाह से बे-पनाह मोहब्बत करते हैं।
मुझसे खुशनसीब हैं मेरे लिखे ये लफ्ज,
जिनको कुछ देर तक पढ़ेगी निगाहे तेरी।
लोग पूछते हैं क्यों सुर्ख हैं तुम्हारी आँखे,
हंस के कह देता हूँ रात सो ना सका,
लाख चाहूं मगर ये कह ना सकूँ,
रात रोने की हसरत थी रो ना सका।
बिन बात के ही रूठने की आदत है,
किसी अपने का साथ पाने की चाहत है,
आप खुश रहें,
मेरा क्या है मैं तो आईना हूँ,
मुझे तो टूटने की आदत है।
इश्क का धंधा ही बंद कर दिया साहेब,
मुनाफे में जेब जले,
और घाटे में दिल।
सुनो कोई टूट रहा है तुम्हे एहसास दिलाते दिलाते,
सीख भी जाओ किसी की चाहत की कदर करना।
चाहा था मुक्कमल हो मेरे गम की कहानी,
मैं लिख ना सका कुछ भी तेरे नाम से आगे।
तुम तो डर गये हमारी एक ही कसम से,
हमे तो तुम्हारी कसम देकर हजारो ने लूटा है।
महफिल लगी थी बद-दुआओं की,
हमने भी दिल से कहा,
उसे इश्क़ हो,
उसे इश्क़ हो,
उसे इश्क़ हो।
अगर नींद आ जाये तो,
सो भी लिया करो,
रातों को जागने से,
मोहब्बत लौटा नहीं करती।
कुछ हार गई तकदीर कुछ टूट गये सपने,
कुछ गैरों ने किया बरबाद कुछ भूल गये अपने।
ऐ खुदा लोग बनाने थे पत्थर के अगर,
तो मेरे एहसास को शीशे सा न बनाया होता।
ऐ मोहब्बत तू शर्म से डूब मर,
तू एक शख्स को मेरा ना कर सकी।
कितना अजीब है लोगों का अंदाज़-ए-मोहब्बत,
रोज़ एक नया ज़ख्म देकर कहते हैं अपना ख्याल रखना।
खबर मरने की जन आये,
तो यह न समझना हम दगाबाज थे,
किस्मत ने गम इतने दिए,
बस ज़रा से परेशान थे।
बहुत देर कर दी तूने मेरी धडकनें महसूस करने में,
वो दिल नीलाम हो गया,
जिसपर कभी हकुमत तेरी थी।
हमने तुम्हें उस दिन से और भी ज़्यादा चाहा है,
जबसे मालूम हुआ तुम हमारे होना नही चाहते।
कांच के दिल थे जिनके उनके दिल टूट गए,
हमारा दिल था मोम का पिघलता ही चला गया।
मुद्दत के बाद आज उसे देख कर ‘मुनीर’,
इक बार दिल तो धड़का मगर फिर सँभल गया।
छुप के तेरी तस्वीरें देखता हूँ,
बेशक तू ख़ूबसूरत आज भी है,
पर चेहरे पर वो मुस्कान नहीं,
जो मैं लाया करता था।
टूटा दिल और धड़कन को एहसास ना हुआ,
पास होकर भी वो दिल के पास न रहा,
जब दूर थी तो,
जान थी मेरी,
आज जब हम क़रीब आये तो वो एहसास ना रहा।
मेरी आँखों को सुर्ख़ देख कर कहते हैं लोग,
लगता है,
तेरा प्यार तुझे आज़माता बहुत है।
न करवटे थी न बेचैनियाँ थी,
क्या गजब की नीँद थी मोहब्बत से पहले।