नमस्कार दोस्तों, smsseller.com पर आपका स्वागत है। प्यार अगर जिंदगी को खूबसूरत बनाता है, तो कभी-कभी वही प्यार दिल के दर्द का कारण भी बन जाता है।
"Sad Love Shayari in Hindi | प्रेम में दर्द भरी शायरी" के इस संग्रह के साथ, आपको अपने उस दर्द को व्यक्त करने का मौका मिलेगा जो शब्दों में बयां होने का इंतज़ार कर रहा है।
हर शायरी आपके दिल की गहराई से निकली हुई भावनाओं का आईना है, जो न सिर्फ आपकी वेदना को साझा करेगी, बल्कि आपको यह भी महसूस कराएगी कि इस दर्द को आप अकेले नहीं झेल रहे हैं। इस संग्रह के साथ, अपने दिल की बात को जबान दीजिए और उस दर्द को एक नया मोड़ दीजिए।
चलिए, इस भावनात्मक सफर में हमारे साथ आगे बढ़ें और अपने दिल की गहराइयों से उठते दर्द को शायरी के साथ साझा करें। यह संग्रह आपके जज्बातों को वो स्थान देगा जहाँ वे न सिर्फ समझे जाएंगे बल्कि संजोये भी जाएंगे।
Sad Love Shayari
प्रेम की पीड़ा को शब्दों में बयां करती शायरी

कत्ल हुआ हमारा इस तरह किस्तों में,
कभी खंजर बदल गए,
कभी कातिल बदल गए।

कल रात का आलम इस कदर था यारो,
उसकी यादों ने मेरी आँखो को सोने ना दिया।

रात तकती रही आँखो में,
दिल आरजू करता रहा,
कोई बे-सबर रोता रहा,
कोई बे-खबर सोता रहा।

बहुत मासूम होते है ये आँसू भी,
ये गिरते उनके लिए है,
जिन्हें परवाह नहीं होती।

खता उनकी भी नहीं है वो क्या करते,
हजारों चाहने वाले थे किस-किस से वफ़ा करते।

चले जायेंगे एक दिन,
तुझे तेरे हाल पर छोड़कर…
कदर क्या होती हैं प्यार की,
तुझे वक़्त ही सीखा देगा…।

माफ़ी चाहता हूँ गुनेहगार हूँ तेरा ऐ दिल,
तुझे उसके हवाले किया जिसे तेरी कदर नहीं।

न जाने कौन सी साजिशों के हम शिकार हुए,
जितना साफ दिल रखा उतने ही हम दागदार हुए।

शायरी के लिए कुछ ख़ास नहीं चाहिए,
एक यार चाहिए और वो भी दगाबाज चाहिए।

लगता है मैं भूल चुका हूँ,
मुस्कुराने का हुनर,
कोशिश जब भी करता हूँ,
आँसू निकल आते हैं।

शीशे में डूब कर,
पीते रहे उस “जाम” को,
कोशिशें तो बहुत की मगर,
भुला ना पाए एक “नाम” को।

ख्वाहिश तो न थी किसी से दिल लगाने की,
पर किस्मत में दर्द लिखा हो तो मुहब्बत कैसे ना होती।

किस्मत की किताब तो खूब लिखी थी मेरी खुदा ने,
बस वही पन्ना गुम था जिसमें मुहब्बत का जिक्र था।

लगा कर आग सीने में,
चले हो तुम कहाँ,
अभी तो राख उड़ने दो,
तमाशा और भी होगा।

अपना बनाकर फिर कुछ दिनों में बेगाना बना दिया,
भर गया दिल हमसे और मजबूरी का बहाना बना दिया।

आदत बदल सी गई है वक्त काटने की,
हिम्मत ही नहीं होती अपना दर्द बांटने की।

तन्हाई की चादर ओढ़कर रातों को नींद नहीं आती हमें,
गुजर जाती है हर रात किसी की बातों को याद करते करते।

मैं अक्सर रात में यूं ही सड़क पर निकल आता हूँ,
यह सोचकर की कहीं ,
चाँद को तन्हाई का अहसास न हो।

हमने उतार दिए सारे कर्ज तेरी मुहब्बत के,
अब हिसाब होगा तो सिर्फ तेरे दिए हुए जख्मों का।

लिखी है खुदा ने मोहब्बत सबकी तक़दीर में,
हमारी बारी आई तो स्याही ही ख़त्म हो गई।

बिखरती रही जिंदगी बूँद-दर-बूँद,
मगर इश्क़ फिर भी प्यासा रहा।

जुल्म के सारे हुनर हम पर यूँ आजमाये गये,
जुल्म भी सहा हमने,
और जालिम भी कहलाये गये।

सुना था मोहब्बत मिलती है,
मोहब्बत के बदले,
हमारी बारी आई तो,
रिवाज ही बदल गया।

दुनिया फ़रेब करके हुनरमंद हो गई…
हम ऐतबार करके गुनाहगार हो गए…।

कैसे दूर करूँ ये उदासी,
बता दे कोई,
लगा के सीने से काश,
रुला दे कोई।

शुक्र करो कि हम दर्द सहते हैं,
लिखते नहीं।वरना कागजों पर लफ़्ज़ों के जनाज़े उठते।

माना मौसम भी बदलते है मगर धीरे-धीरे,
तेरे बदलने की रफ़्तार से तो हवाएं भी हैरान है।

ज़िन्दगी की हर शाम,
हसीन हो जाए…
अगर मेरी मोहब्बत मुझे,
नसीब हो जाये…।

लम्हा दर लम्हा साथ,
उम्र बीत ज़ाने तक,
मोहब्बत वहीं हैं ज़ो चले,
मौत आने तक…।

भीगी नहीं थी मेरी आँखें कभी,
वक़्त की मार से…
देख तेरी थोड़ी सी बेरुखी ने इन्हें,
जी भर के रुला दिया…।

मेरी आँखो का हर आँसू,
तेरे प्यार की निशानी है,
जो तू समझे तो मोती है,
ना समझे तो पानी है…।

इन्हीं रास्तों ने जिन पर मेरे साथ,
तुम चले थे…
मुझे रोक के पूछा की तेरा,
हमसफ़र कहाँ है…।

खैर कुछ तो किया उसने…
चलो तबाह ही सही…।

जागना कबूल हैं तेरी यादों में रात भर,
तेरे एहसासों में जो सुकून है वो नींद में अब कहाँ।

आखिर क्यों बस जाते हैं दिल में,
बिना इजाज़त लिए वो लोग,
जिन्हे हम ज़िन्दगी में कभी पा,
नहीं सकते।

मुस्कुराने की अब वजह याद नहीं रहती,
पाला है बड़े नाज़ से… मेरे गमों ने मुझे।

खुदखुशी करने से मुझे कोई परहेज नही है,
बस शर्त इतनी है कि फंदा तेरी जुल्फों का हो।

मैंने दरवाज़े पे ताला भी लगा कर देखा लिया,
पर ग़म फिर भी समझ जाते है की मैं घर में हूँ।

मुझे नींद की इजाज़त भी उनकी यादों से लेनी पड़ती है,
जो खुद आराम से सोये हैं,
मुझे करवटों में छोड़ कर।

भला कौन इस दिल की इतनी,
देख-भाल करे…
रोज़-रोज़ तो इसकी किस्मत में,
टूटना ही लिखा है…।

मैने माँगा था थोड़ा सा उजाला अपनी जिंदगी में,
चाहने वालों ने तो आग ही लगा दी।

उदास कर देती है हर रोज ये बात मुझे,
ऐसा लगता है भूल रहा है कोई मुझे धीरे-धीरे…।

समझदार ही करते है अक्सर गलतिया,
कभी देखा है,
किसी पागल को मोहब्बत करते।

मौहब्बत की मिसाल में बस इतना ही कहूँगा…
बेमिसाल सज़ा है,
किसी बेगुनाह के लिए।

हमे क्या पता था,
आसमान इस कदर रो पडेगा,
हमने तो बस उसे अपनी दास्तां सुनाई थी।

याद में नशा करता हूँ…
और नशे में याद करता हूँ…।

रखा करो नजदीकियां,
जिंदगी का भरोसा नहीं… फिर कहोगे चुपचाप चले गए और बताया भी नहीं।

चाहते हैं वो हर रोज नया चाहने वाले,
खुदा मुझे रोज इक नई सूरत दे दे।

मौत की हिम्मत कहां थी मुझसे टकराने की कमबख्त ने मोहब्बत को मेरी सुपारी दे डाली।

सामने मंजिल तो रास्ते ना मोड़ना ।
जो मन मे हो वो ख्वाब ना तोड़ना ।
हर कदम पर मिलेगी सफलता ।
बस आसमान छूने के लिए जमीन ना छोड़ना ।